केंद्र में अटका 290 करोड़ रुपए का ब्याज अनुदान
केंद्र में अटका 290 करोड़ रुपए का ब्याज अनुदान
भोपाल। खेती की लागत घटाने और किसानों को समय पर कर्ज अदायगी के लिए प्रोत्साहित करने के लिए केंद्र सरकार की ओर से दिया जाने वाला ब्याज अनुदान अटक गया है। सहकारी बैेंकों को 2015-16 के लगभग 290 करोड़ रुपए अभी तक नहीं मिले हैं।
जबकि, राज्य सरकार ने अपने हिस्से के 438 करोड़ रुपए अपेक्स बैंक को अदा कर दिए हैं। केंद्र और राज्य से मिलने वाले ब्याज अनुदान की बदौलत ही सहकारी बैंक किसानों को जीरो परसेंट ब्याज पर कर्ज देते हैं। इस राशि को प्राप्त करने के लिए सहकारिता विभाग और अपेक्स बैंक पत्र भी लिख चुके हैं।
सूत्रों के मुताबिक 2015-16 में सहकारी बैंकों ने 26 लाख 32 हजार से ज्यादा किसानों को जीरो परसेंट ब्याज पर कर्ज दिया था। केंद्र सरकार दो प्रतिशत ब्याज अनुदान सभी किसानों के लिए संस्था यानी बैंकों को देती है। समय पर किसान कर्ज की अदायगी करें, इसके लिए तीन प्रतिशत अनुदान प्रोत्साहन स्वरूप दिया जाता है।
अपेक्स बैंक के अधिकारियों ने बताया कि 290 करोड़ रुपए का ब्याज अनुदान केंद्र से मिलना बाकी है। राज्य अपने हिस्से की राशि दे चुका है। ब्याज अनुदान में मिलने वाली राशि से बैंक कर्ज देने में आने वाली लागत निकालते हैं। दरअसल, बैंकों को किसानों को जीरो परसेंट ब्याज पर कर्ज देने में 11 प्रतिशत की लागत आती है।
सहकारिता विभाग और अपेक्स बैंक प्रबंधन ने केंद्र को पत्र लिखकर ब्याज अनुदान की बकाया राशि जल्द उपलब्ध कराने का अनुरोध किया है। बैंकों को रबी सीजन में सात हजार करोड़ रुपए का कर्ज किसानों को बांटने का लक्ष्य मिला है। इसके लिए नाबार्ड से साढ़े चार-पांच हजार करोड़ रुपए लेने के अलावा बाकी राशि का इंतजाम बैंक अपने संसाधनों से करेंगे।
Source:Agency