फ़िल्म ‘मुकद्दर’ भोजपुरी के प्रति लोगों का बदलेगी सोच : शेखर शर्मा

फ़िल्म ‘मुकद्दर’ भोजपुरी के प्रति लोगों का बदलेगी सोच : शेखर शर्मा
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सुपर स्‍टार खेसारीलाल यादव और काजल राघवानी स्‍टारर भोजपुरी फिल्म ‘मुकद्दर’ अन्‍य रूटीन फिल्‍मों से काफी हटकर और नया है। यह भोजपुरी सिनेमा की प्रति लोगों की सोच बदल देगी। ऐसा कहना है फिल्‍म के निर्देशक शेखर शर्मा का। उन्‍होंने कहा कि अगर भाषा को थोड़ी देर के लिए अलग करके देखें तो यह फिल्‍म भी हिंदी की बेहतरीन फिल्‍मों की तरह लगेगी। बता दें कि शेखर शर्मा ने अपने करियर की शुरूआत म्‍यूजिक डायरेक्‍शन से किया और हिंदी, मराठी, असमी, साउथ जैसी अन्‍य भाषाओं की फिल्‍मों में अपना योगदान दिया। बाद में बतौर निर्देशक उन्‍होंने कई हिंदी और भोजपुरी फिल्‍में भी की।

महापर्व छठ पर बिहार के सिनेमाघरों में रिलीज हो रही एस.के.फिल्म्स इंटरटेनमेंट एवं शालीमार प्रोडक्शन लिमिटेड के बैनर तले बनी फिल्म ‘मुकद्दर’ के बारे में उनका ये भी कहना है कि इस फिल्‍म में तकनीक का बेहतर और वाजिब इस्‍तेमाल किया गया है। जो अभी तक भोजपुरी फिल्‍मों में कम देखने को मिलता था। इसके लिए मैं फिल्‍म के निर्माता वसीम खान का तहे दिल से शुक्रगुजार हूं, जिन्‍होंने फिल्‍म की मेकिंग के दौरान मुझ पर भरोसा जताया और भरपूर सहयोग दिया। वे इंडस्‍ट्री के बेहतरीन निर्माताओं में से एक हैं। उन्‍हें ये पता है कि उन्‍हें क्‍या चाहिए और उन्‍होंने बस उतनी ही डिमांड मुझसे की। बांकी पूरी फिल्‍म की जिम्‍मेदारी हम पर छोड़ दी। वैसे ये फिल्‍म पूरी टीम की कठिन मेहनत का नतीजा है।

शेखर ने फिल्‍म की कहानी के बारे में कहा कि यह एक म्‍यूजिकल लव स्‍टोरी है। इसमें एक्‍शन भी हैं। ट्विस्‍ट भी हैं। रोमांस भी हैं। यह भोजपुरी सिनेमा में पहली बार है, जब कोई स्‍टार अपने ही स्‍टारडम की कहानी को पर्दे पर जीया हो। ये खेसारीलाल यादव की ही कहानी है और इसे उन्‍होंने पूरी सिद्दत के साथ परफॉर्म किया है। हालांकि फिल्‍मों में अक्‍सर स्‍टरडम पाने की स्‍टोरी दिखाई जाती है, लेकिन ‘मुकद्दर’ पोस्‍ट स्‍टारडम की कहानी है। फिल्‍म के स्‍टार कास्‍ट के बारे में शेखर कीते हैं कि मैंने शमीम खान के साथ पहले भी फिल्‍में की है। वे एक अच्‍छे अभिनेता हैं। मगर खेसारीलाल यादव के साथ यह मेरी पहली फिल्‍म है। वे काफी सपोर्टिव और ए‍नर्जेटिक हैं। सेट पर हमेशा ऑन टाइम रहते हैं और सीन में पूरी तरह घुस जाते हैं। काफी अच्‍छे डांसर हैं और प्रोफेशनल आर्टिस्‍ट हैं। वहीं, काजल बेहद जहीन मिजाज वाली अदाकारा हैं। फिल्‍म में वे सेंट्रल कैरेक्‍टर में है।

शेखर ने भोजपुरी और हिंदी सिनेमा को दो अलग – अलग कैनवास बताया और कहा कि आज भोजपुरी की बडी टेरेटरी है। इसलिए इस इंडस्‍ट्री में फिल्‍म मेकिंग के लिए बेहद सुधार की दरकार है। अभी यहां कई जगहों पर ध्‍यान देने और बेहतर काम करने की जरूरत है। तभी भोजपुरी फिल्‍में अच्‍छी बनेंगी भी और चलेंगी भी। उन्‍होंने गानों के बारे में बताया कि फिल्म ‘मुकद्दर’ के गाने काफी खूबसूरत हैं और कर्णप्रिय है। इसकी गवाही तो आज लोग भी दे रहे हैं। वहीं, यू-ट्यूब पर फिल्‍म के रिलीज से पहले ‘मुकद्दर’ के हर एक गाने को सात मिलियन से ज्‍यादा बार देखा गया है। जो कि इंडस्‍ट्री में एक रिकॉर्ड है। इससे साफ पता चलता है कि फिल्‍म के गाने कैसे हैं और अगर गाने इतने सुपर हिट हैं, तो अंदाजा लगा लीजिए कि फिल्‍म क्‍या करने वाली है बॉक्‍स ऑफिस पर। छठ पूजा पर फिल्म ‘मुकद्दर’ रिलीज हो रही है। सबों से गुजारिश है कि सिनेमाघरों में जाकर फिल्‍म देखें और उस पर अपनी प्रतिक्रिया दें।

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